🥀मां🥀
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मां
एक विश्वास है
एहसास है
प्यार का
दुलार का
जिसे पाते ही
हम भूल जाते है
अपने सारे
दुःख दर्द
जिसने दिया ही दिया
बदले में
कुछ भी नहीं लिया।
मां
परिवार की धुरी होती है
जिसकी
छत्र छाया में
हम फलते फूलते है।
मां सच्चाई है
जो केवल
देती ही देती है
बदले में
नहीं लेती कुछ
देखती है
केवल एक ही सपना
हमारे बडे होने का
घर बसाने का
तथा अपने को
दादी होने बनने का।
मां को खुश रखना है
यही काम ,
हर बच्चे को अपनी मां के लिए करना है।
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कालिका प्रसाद सेमवाल
मानस सदन अपर बाजार
रूद्रप्रयाग उत्तराखंड
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