नवीन कुमार भट्ट नीर ग्राम मझगवाँ पो.सरसवाही जिला उमरिया मध्यप्रदेश

शिव


बैठे शिव कैलाश पे,नीर लगाकर ध्यान।
नंदी भी बैठे यहाँ, बाँट रहे है ज्ञान।।


शिव का सुमिरन कीजिए,शिव जी बडे महान।
इनके कारण ही टिक,सारा नीर जहान।।


भोले लगते है सदा,रखिये मन विश्वास।
शिव करते हर कामना,वाणी रखें मिठास।।


शिव बैठे कैलाश पे,नीर लगाये ध्यान।
इनकी लीला है अजब,नीर रहे अनजान।।


हर पत्तों पे शिव बसे,महिमा बड़ी अपार।
मन में शिव आराधना,लाये सदा बहार।।


शिव को पूँजे राम है,लेकर मानव रूप।
शिव को सदा मनाईये,इनकी कृपा अनूप।।


भाँग धतूरा चरस सम,गाँजा दारू संग।
अर्पण शिव को कीजिए, पुष्पित रंग बिरंग।।


नीलकण्ठ शिवरूप हैं,शिव ही भोलेनाथ।
जो जैसी करनी करे,वैसे देते साथ।।


साँप विराजे कंठ में,बिच्छू कुंडल कान।
भूत प्रेत संग दोस्ती,करते विष का पान।।


सच्चे दिल से कीजिए,शिव मंत्र का जाप।
हर राहों पे जीत हो,जग में बढ़िये आप।।


नवीन कुमार भट्ट नीर
ग्राम मझगवाँ पो.सरसवाही जिला उमरिया मध्यप्रदेश


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