अखण्ड प्रकाश

करोना ? कुछ करो ना,
मुस्काओ पर लड़ोना। 
होली है यज्ञ उत्सव,
पिल जाओ अब डरो ना।।


घर घर जलाओ होली,
भर लो खुशी से झोली।
देखो  गले  लगालो ,
लेकिन गले पड़ो ना।।


रंग से न हो ठिठोली,
फूलों से खेलो होली।
ये पवित्रता की संस्कृति,
बकने दो तुम बको ना।।


जो करेगा (चीन) भरेगा,
जो लड़ेगा (पाक) मरेगा।
प्रहलाद  के  हो  वंशज,
सच्चाई   से   डरोना ।।


जो भी दिखाए आंखें,
उसकी निकाल लो ना।
हो प्रेम का  पियासा।
उसको सम्हाल लो ना।।


कहते प्रकाश हंस कर,
मन में जी कुछ धरो ना।
कोई   मांग   खाली,
होली है    जी भरो ना।।


करोना करोना करोना करो ना.....
डरोना डरोना डरोना डरो ना......


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