आ गई मां................
असुर मर्दनी मंगल करनी
सन्तजनों के संकट हरनी
जीवन रक्षक दुख भंजक
अपने भक्तों की संरक्षक
मोहमाया से अलिप्त हिय
वात्सल्य भरा जीवन प्रिय
हर विपदा से देती हैं त्राण
निज भक्तों में बसते प्राण
नाम मात्र सेअमंगल भागें
सुप्त भाग्य मनुज के जागें
अपनी संतति की खातिर
भीड़ गईं देत्यों से जाकर
निरंकार है मां की ज्योती
भक्तहिय की अनुपम मोती
जिनके दर्श मात्र से व्यक्ति
पाते है वे अवर्चनीय शक्ति
ब्रह्मा व विष्णु करें अर्चना
व्यर्थ नहीं जाये अभ्यर्थना
भुवनेश्वरी हे मां बृजेश्वरी
गौरी शारदा मां परमेश्वरी
आ गई मां सुन कर पुकार
हर विपत्ति का होगा संहार
महिषासुर रक्तबीज बचेना
आ गई मां है क्या कोरोना?
जय माँ बृजेश्वरी🙏🙏🙏🙏🙏🌹🌹🌹🌹🌹
सत्यप्रकाश पाण्डेय
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