सुबोध कुमार

तू लगे  सुंदर पर  इतना  ज्यादा भी ना लगे
खुदा  करे तुझे  किसी की भी नजर ना लगे


नजरंदाजियां  यह  तेरी गैर जिम्मेदारियां है
बातें  चंद सुना दूं अगर तुझे  जहर ना  लगे


छुपा के हर बात मुझसे तू ये क्या सोचता है
तेरे दिल में रहता हूं और मुझे खबर ना लगे


खुदगर्जियां लगती है तेरी अदाएं आजकल
थोड़ा  पास रह दिलके कि मुझे डर ना लगे


मेरे बाद बैठकर सोचना तू गलतियां अपनी
चला जाऊंगा दूर इतना  तुझे खबर ना लगे


         सुबोध कुमार


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