सफर जिंदगी है सुहाना
मिलना बिछड़ना रोना मुस्कुराना।।
जिंदगी तनहा लोगों
रिश्तों नातों का कारवाँ ।
भीड़ में
अकेला जिंदगी की परछाई यादों तनहाई सांसो धड़कन की जिंदगी बोझ ख़ुशी गम का मेला झमेला।।
इंसान अरमानों की मंज़िलों का
मुसाफिर मंजिलों को खोजता
दुनियां से पता पूछता।
जिंदगी का जंग जीतने मकसद
मौसिकी का मसीहा ।।
जमाने के
जज्बात हालात की कश्ती
का मांझी कभी खुद की कश्ती भँवर तूफ़ान निकालने की जद्दो जहद मसझधार में पतवार की गुहार जिंदगी।।
नशा जिंदगी जूनुन जिंदगी
शुरुर जिंदगी मकसद के जंग का
ढूढती हथियार जिंदगी ।।
कभी
दौलत की मार कभी रिश्तों नातों
की मार कभी किस्मत हालात की
मार जिंदगी।।
दौलत की होड़ का नशा आराम
अय्यासी का नशा शोहरत
का नशा इश्क हुस्न का नशा।।
जिंदगी नशा जरूर ना झूमती
ना नाचती अपने अंदाज़ के नशे
में गुजरती जाती।।
कही ठहर जाती पल दो पल
कहीं से गुजर जाती चलती जाती
एक दिन गुजरे जमाने की यादें
जिंदगी गुजर जाती।।
शराब साकी पैमाना बेवजह
बदनाम इंसान शराब साकी
पैमाने मैखाने का ईमान।।
जिंदगी इंसान गुरुर की गहराई
जाम उतर गयी जिंदगी सागर की गहराई सागर की सुराही में ही डूबती जिंदगी।।
गुमनाम अंधेरो में खोई जिंदगी
बेनाम।।
जिंदगी खुद की अमानत नहीं
जिंदगी जहाँ का जज्बा जज्बात
जिंदगी जहाँ जमाने में गुजरती
खुद के कदमो से लिखती दरमियाने दास्ताँ।।
जिंदगी जज्बा दुनियां के लिए मारना।
दुनियां के लिये जिंदगी इबादत
इम्तेहान से गुजराती जहाँ में अंधेरों को उजाले में बदलती।।
फर्श से अर्श फ़र्ज़ फ़क़ीर जिंदगी
ना कुछ लेकर आती ना कुछ साथ लेकर जाती जिंदगी।।
साँसों धड़कन के दौरान जो भी
कमाई दौलत दुनियां में साँसों धड़कन के बाद दुनियां के साथ
जिंदगी।।
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
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