सविता मिश्रा

कहीं रेगिस्तान है, तो कहीं पठार,


कहीं धूप है, तो कहीं छांव l1l


 


अतिथि देवो भवः है परम्परा ,


निभाते भी है हम अपनी परम्परा l2l


 


गौतम, नानक, अम्बेडकर, गाँधी, नेहरू, कलाम की है जन्म स्थली,


रानी लक्ष्मी बाई,दुर्गावती जैसी अनेकों वीरांगनाओं की भी है जन्मस्थली l3l


 


जननी-जन्मभूमि है बढ़कर स्वर्ग से ,


हर हिंदुस्तानी माने अपने दिल से l4l


 


धरती है सुनहरी जहां की,अम्बर है नीला जहां का


है वो देश रंगीला जहां का l5l


 


जिसकी है एक माता,


कहते हैं हम सभी भारतमाता l6l


 


जन - गण - मन है राष्ट्रीय गान,


गाकर बढ़ाते हैं इसका मान - सम्मान l7l


 


वन्देमातरम है हमारा राष्ट्रीय गीत,


बंकिम चंद्र चटर्जी ने लिखा था हमारा राष्ट्रीय गीत l8l


 


सभ्यता और संस्कृति है जिसकी पहचान,


धर्म और आस्था है जिसकी जान l9l


 


जिसकी धरती पर रहते हिन्दू - मुस्लिम- सिख - ईसाई,


लेकिन है सभी भाई- भाई l10l


 


भिन्न - भिन्न है, भाषाएँ, भिन्न भिन्न है बोली,


फिर भी सब की है एक ही बोली l11l


 


मेरा देश है महान,


करे हम सभी यही बस एक गुणगान l12l


 


अनेकता में एकता जिसकी है पहचान,


 है मेरा हिन्दुस्तान........ है मेरा हिन्दुस्तान l13l


 


है मेरा देश, 


है मेरा भारत देश l14l


 


 - सविता मिश्रा


 (शिक्षिका, समाजसेविका और कवियत्री )


पता - वाराणसी, उत्तर प्रदेश


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