वतन की मेरे देखो शान,
नाम है जिसका हिंदुस्तान।
धरती है यह ऋषि मुनियों की
राम, कृष्ण, नानक जैसे देवों की।
अद्भत है देवताओं की कथाएं,
इतिहास कहता शूरवीरों की गाथाएं।
संस्कृति इसकी कोई मिटा ना पाया,
चाहे, तैमूर, गौरी गजनवी आया।
लक्ष्मीबाई ,शिवाजी सांगा राणा,
दुनिया ने इनका लोहा माना।
स्वंत्रता की सैकड़ों सुनो कहानी,
सुनकर आंखो में भर आए पानी।
टैगोर ,तिलक, आजाद भगत सिंह,
बोस जैसे जांबाजों की बलिदानी।
ना झुका है ना झुकने दिया,
वतन की खातिर जवानों ने शीश दिया।
हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई,
आपस में हैं सब भाई- भाई,
दुश्मनों को भी यह बात समझाई,
जब जब बात वतन की आई।
तो क्या हुआ कि आज कल,
सत्ता की लालच मचाती हैं हलचल।
ये मेरा, मेरा वतन है,
सह लेगा सारी उथल पुथल।
आज फिर एक नए युग की शुरुआत है,
हस्ती इसकी ना मिटी है,
ना कोई मिटा पायेगा ,
मेरे वतन की निराली बात है।
मेरे वतन की निराली बात है।।
योगिता तलोकर
मोबाइल --- 9200099254
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