कालिका प्रसाद सेमवाल

गौ माता की महिमा


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पुत्र दिलाता दाल रोटियां


 गौ माता दूध पिलाती है,


इसी लिए गौ को माता कहते है


और जग में पूजी जाती है।


 


पाप भार जब बड़े धरती पर


तब रूप गऊ का धरती है,


चार पांव में चार धाम है


और अंग अंग में है तीर्थ।


 


मां ने हमें ममत्व दिया है


दूध नहीं अमरत्व दिया है,


एक गठरी घास के खातिर


अपने तन का अमृत दिया है।


 


गौ माता है देश की भाग्य विधाता


और गौ है राष्ट्र के प्राण,


गौ पालन और संवर्द्धन से


होगा शक्ति शाली हिन्दुस्तान।


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कालिका प्रसाद सेमवाल


मानस सदन अपर बाजार


रूद्रप्रयाग उत्तराखंड


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